अहसास रिश्‍तों के बनने बिगड़ने का !!!!

एक चटका यहाँ भी

नमस्कार ..हु पंकज छु अने तामारो स्वागत करू छु नवीन वर्ष माँ ...आ वर्ष तमारे माटे मंगलकारी होवे ...
आज आपको बोदूराम के दो किस्से बताता हु नए साल मनाने के बारे में ..
हुआ यु की बोदूराम को मोबाइल पर मैसेज भेजकर नया साल की शुभकामनाये देने में बड़ा मजा आता था ..था , है नहीं  रहेगा कैसे जो हादसा बोदूराम के साथ हुआ उसके बाद तोhttp://crazywebsite.com/Website-Clipart-Pictures-Videos/New-Year-Graphics/Happy-New-Year-Party-Animals-Animation-1.gif बोदूराम ने मैसेज लिखना ही छोड़ दिया ...तो पढ़ लीजिये क्या हुआ .....
हुआ यु की की बोदूराम ने नए साल पर सबको मैसेज करने की सोची ..और किया भी और मैसेज में वो लिखना चाहा कि...
WISH YOU & your family HAPPY NEW YEAR
लेकिन गलतीसे w की जगह दब गया k और हो गया
KISS you and & your family happy new year


अब तो आप समझ ही गए होगे कि कैसा बवाल हुआ होगा 
http://spyhunter007.com/Images/animation_aerobic_girl.gifखैर किसी तरह बोदूराम जी ने सबको समझा बुझाकर शान्त किया ...अगले साल फ़िर नया साल आया मतलब २०१० कल की बात है...बो्दूराम को मैसेज वाली बात याद थी अतः दुबारा रिस्क लेना सही नही समझा और मैसेज ना भेजने की कसम खा रखी थी ..खैर बात समझते समझते यह समझ मे आयी कि मैसेज की जगह मेल का सहारा लिया जाय और सबको मेल से नये शाल की शुभकामनाये दिया जाय..बोदूराम गूगल बाबा की शरण मे गये और नये साल पर एक अच्छा सा पावर पाईन्ट का स्लाईड शो उठा लाये.
स्लाईड शो की खाश बात यह थी कि उसमे एक लड्की हाथ हिलाते हुए कहती है बाय़ बाय २००९ ....तीन बार कहने के बाद वह लडकी गायब हो जाती है....और दुसरी लडकी आती है और कहती है वेलकम २०१०..


बोदूराम जल्दबाजी मे थे अतः बस इतना देखकर ही उन्होने अपने सभी जान पहचान के महिला-पुरुषो को वह शुभकामनाये सन्देश भेज दिये....कुछ ही देर के बाद सबसे पहले बोदूराम के पिताजी का फ़ोन आया ...घन्टी बजी तो बोदूराम ने सोचा कि उनके पिताजी को सन्देश पसन्द आया इसिलिये उन्होने खुशी के मारे फ़ोन किया ...जैसे ही बोदूराम ने हैलो बोला...पिताजी का पारा डोला और लगातार गालिया बककर फ़ोन काट दिया और जाते-जाते इतना कह गये कि जो भेजा है पहले उसको खुद देख..


बोदूराम ने जल्दी से मेल अटैच्मेन्ट खोली और चलाया तो पहली लडकी आयी और बाय़ बाय़ की दुसरी लडकी आयी तो वेलकम की थोडी देर बाद दोनो लडकी साथ मे आती है और अपना टी शर्ट और जीन्स निकालकर हवा मे लहराकर नाचने लगती है..अब तो बोदूराम को काटो तो खून नही ..
तो दोस्तो यह तो बात हुई बोदूराम की और और मेरा तो सही ही था ..आप सबको देरी से ही सही नये साल की शुभकामनाये ...
नमस्ते

15 comments:

  1. संगीता पुरी on January 2, 2010 at 1:03 AM

    आपके और आपके परिवार वालों के लिए नववर्ष मंगलमय हो !!

     
  2. Udan Tashtari on January 2, 2010 at 5:41 AM

    बोदूराम की जय!!

    :)

    आपको नया साल मुबारक!!


    वर्ष २०१० मे हर माह एक नया हिंदी चिट्ठा किसी नए व्यक्ति से भी शुरू करवाने का संकल्प लें और हिंदी चिट्ठों की संख्या बढ़ाने और विविधता प्रदान करने में योगदान करें।

    - यही हिंदी चिट्ठाजगत और हिन्दी की सच्ची सेवा है।-

    नववर्ष की बहुत बधाई एवं अनेक शुभकामनाएँ!

     
  3. Udan Tashtari on January 2, 2010 at 7:09 AM

    वर्ष २०१० मे हर माह एक नया हिंदी चिट्ठा किसी नए व्यक्ति से भी शुरू करवाने का संकल्प लें और हिंदी चिट्ठों की संख्या बढ़ाने और विविधता प्रदान करने में योगदान करें।

    - यही हिंदी चिट्ठाजगत और हिन्दी की सच्ची सेवा है।-

    नववर्ष की बहुत बधाई एवं अनेक शुभकामनाएँ!

    समीर लाल
    उड़न तश्तरी

     
  4. Arvind Mishra on January 2, 2010 at 7:14 AM

    सावधानी की हिदायत के लिए बहुत बहुत शुक्रिया ...अभी बहुत से सन्देश नहीं भेज पाया !

     
  5. Kusum Thakur on January 2, 2010 at 7:29 AM

    आपको और आपके परिवार को नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनायें !

     
  6. Kusum Thakur on January 2, 2010 at 7:29 AM

    आपको और आपके परिवार को नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनायें !

     
  7. वाणी गीत on January 2, 2010 at 8:10 AM

    बेचारा बोदू राम ...सही समय पर पिता ने टोक दिया ...

    नव वर्ष की बहुत शुभकामनायें ...!!

     
  8. Himanshu Pandey on January 2, 2010 at 9:08 AM

    हूँ, सावधान रहने की जरूरत है !

    बोदूराम तो गज़ब हैं भाई ! आभार ।

     
  9. पी.सी.गोदियाल "परचेत" on January 2, 2010 at 9:15 AM

    नववर्ष की बहुत बधाई एवं अनेक शुभकामनाएँ पंकज जी !

     
  10. ताऊ रामपुरिया on January 2, 2010 at 9:27 AM

    जय हो बोदूरामजी की. नये साल की रामराम.

    रामराम.

     
  11. डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' on January 2, 2010 at 10:12 AM

    नये वर्ष में आ गये, अपने बोदूराम।
    मंगलमय नव वर्ष का, नारा ललित ललाम।।

     
  12. डॉ. मनोज मिश्र on January 3, 2010 at 10:35 PM

    प्रिय पंकज,
    नव वर्ष की बहुत सारी शुभकामनायें.आज से ब्लॉग लेखन फिर से शरू कर दिया हूँ.

     
  13. Pushpendra Singh "Pushp" on January 4, 2010 at 12:45 PM

    बेहतरी रचना के लिए
    बहुत -२ आभार

     
  14. देवेन्द्र पाण्डेय on January 9, 2010 at 8:55 AM

    अच्‍छा हास्‍य है.
    नववर्ष के शुरूवात में ही होलि‍याना अंदाज है तो वेलेनटाइन और होली के आते-आते आप क्‍या-क्‍या गुल खि‍लाते हैं देखना पड़ेगा.
    नव वर्ष की बहुत सारी शुभकामनायें.

     
  15. निर्मला कपिला on January 9, 2010 at 8:58 PM

    paMkaj jee aapako aur aapake parivaar ko naye saal kee shubhakaamanaayeM apanaa bhee der se hee sahee magar kabool kar leM post kamaal kee hai badhaaI bodoo raam ko bhee

     

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साँस लेते हुए भी डरता हूँ! ये न समझें कि आह करता हूँ! बहर-ए-हस्ती में हूँ मिसाल-ए-हुबाब! मिट ही जाता हूँ जब उभरता हूँ! इतनी आज़ादी भी ग़नीमत है! साँस लेता हूँ बात करता हूँ! शेख़ साहब खुदा से डरते हो! मैं तो अंग्रेज़ों ही से डरता हूँ! आप क्या पूछते हैं मेरा मिज़ाज! शुक्र अल्लाह का है मरता हूँ! ये बड़ा ऐब मुझ में है 'yaro'! दिल में जो आए कह गुज़रता हूँ!
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